'Karunanidhi को आखिरी 2 वर्ष घर में रखा नजरबंद, DMK नेताओं ने नहीं जाने दिया विदेश'
करुणानिधि (फाइल)
डीएमके के मुखिया एमके स्टालिन द्वारा जयललिता की मौत की जांच करवाने के बयान के बाद अब एआईएडीएम के नेता व तमिलनाडु के सीएम के पलानीसामी ने जवाबी बयान दिया है कि स्टालिन ने अपने पिता एम करुणानिधी को मृत्यु से ठीक पहले दो वर्ष तक घर में नजरबंद करके रखा था। चुनाव सभा के दौरान पलानीसामी ने कहा कि 94 साल के करुणा अपने इलाज के लिए विदेश जा सकते थे, लेकिन स्टालिन ने उन्हें नहीं जाने दिया। ऐसे में एआईएडीएमके करुणा के मौत के हालात की जांच करवा सकती है। अगस्त 2018 में करुणा की मृत्यु के बाद अब स्टालिन डीएमके के प्रमुख बन चुके हैं। उन्होंने अपने चुनाव प्रचार के दौरान कहा था कि जयललिता के असली समर्थकों को पता होना चाहिए कि उसकी मृत्यु किन हालात में हुई, यह खुलासा जांच में ही हो सकता है। अगर उनकी पार्टी सत्ता में आती है तो इसकी जांच करवाई जाएगी। हालांकि मौजूदा प्रदेश सरकार ने जस्टिस अरुमुगास्वामी आयोग बनाकर जयललिता की मौत के हालात की जांच शुरू करवाई है।
पलानीसामी ने जवाबी हमले में कहा कि स्टालिन के अपने स्वार्थ हैं जिसके चलते उन्होंने अपने पिता को इलाज के लिए भी जाने नहीं दिया। उसे डर था कि पिता अगर बच गए तो उसे डीएमके का नियंत्रण नहीं लेने देंगे। यही वजह थी कि करुणा के जीते जी स्टालिन पार्टी केप्रमुख नहीं बनाए गए।