घाटी के छह हजार युवा उच्च शिक्षा से जुड़े, मोदी सरकार की मुहिम सफल
सांकेतिक तस्वीर - फोटो : bharat rajneeti
खास बातें
- पिछले साल के मुकाबले डेढ़ गुना अधिक छात्रों ने देश के टॉप कॉलेजों में लिया दाखिला
- इंजीनियरिंग, मैनेजमेंट, आर्किटेक्चर, मेडिकल, फार्मेसी कॉलेजों में रहना, खाना, फीस, किताबों का सारा खर्च देती है सरकार
- घर-घर जाकर परिजनों संग छात्रों को किया जागरूक
कश्मीर घाटी के युवा अब पत्थर या बंदूक की बजाय इंजीनियर, डॉक्टर, फार्मासिस्ट, आर्किटेक्चर या पीएचडी करके देश के विकास से जुड़ना चाहते हैं। इसी के चलते 6,352 छात्रों ने प्रधानमंत्री स्पेशल स्कॉलरशिप के तहत देश के शीर्ष कॉलेजों में दाखिला लिया है। मोदी सरकार की कोशिशों के चलते ही पिछले साल के मुकाबले छात्रों की संख्या में डेढ़ गुना बढ़ोतरी हुई है। इन छात्रों का रहना, खाना, फीस, किताबों का सारा खर्चा सरकार देती हैं।
घाटी के युवाओं को उच्च शिक्षा से जोड़ने के लिए केंद्र सरकार ने पिछले दो साल से जम्मू कश्मीर में विशेष अभियान चला रखा है। स्कूलों को ऑनलाइन और सैटेलाइट कैंपस के माध्यम से गुणवत्ता युक्त पढ़ाई करवाई जा रही है। सीबीएसई बोर्ड और एनसीईआरटी के माध्यम से स्पेशल टीचर ट्रेनिंग भी दी गई है।
अलगाववादियों और आतंकवादियों ने जिन स्कूलों को जला दिया था, उन्हें दोबारा शुरू किया गया है। स्कूलों में विशेष सुरक्षा भी दी गई है। सरकार का पूरा फोकस है कि स्कूली शिक्षा के दौरान छात्र पढ़ाई न छोड़ें।
घर-घर जाकर परिजनों संग छात्रों को किया जागरूक
12वीं कक्षा पास करने वाले छात्रों और उनके परिजनों को जागरूक किया गया। केंद्र सरकार की टीम राज्य समेत घाटी के दूरदराज के इलाकों और गांवों में घर-घर जाकर उच्च शिक्षा में छात्रों का भविष्य की जानकारी दी गई।
काउंसलिंग सेशन चलाते हुए उन्हें प्रधानमंत्री स्पेशल स्कॉलरशिप योजना के बारे में बताया गया। शैक्षणिक सत्र 2019-20 में 6,352 छात्रों ने दाखिला लिया है। जबकि 2018-19 में यह आंकड़ा पहले 2,525 था। सबसे अधिक 3,050 छात्रों ने इंजीनियरिंग और 1,025 छात्रों ने नर्सिंग में दाखिला लिया है।
वर्ष छात्रों की संख्या
2012-13 3687
2013-14 4159
2014-15 1963
2015-16 1338
2016-17 2162
2017-18 3019
2018-19 2525
2019-20 6352