हाउडी मोदी पर सियासत गरम, 'अबकी बार ट्रंप सरकार' पर भड़की कांग्रेस
प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी और राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रंप - फोटो : bharat rajneeti
कांग्रेस ने सोमवार को आरोप लगाया कि प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने अमेरिकी राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रंप के पक्ष में प्रचार कर दूसरे देशों के चुनावों में दखल नहीं देने के भारतीय विदेश नीति के स्थापित सिद्धांत का उल्लंघन किया है। पार्टी के वरिष्ठ प्रवक्ता आनंद शर्मा ने यह दावा भी किया कि यह भारत के दीर्घकालिक कूटनीतिक हितों के लिए बड़ा झटका है। उन्होंने ट्वीट कर कहा, ‘आपको (मोदी) याद दिलाना चाहता हूं कि आप अमेरिकी चुनाव में स्टार प्रचारक की तरह नहीं, बल्कि भारत के प्रधानमंत्री के तौर पर अमेरिका गए हैं। प्रधानमंत्री जी, आपने दूसरे देशों के आंतरिक चुनावों में दख़ल न देने के भारतीय विदेश नीति के स्थापित सिद्धांत का उल्लंघन किया है। यह भारत के दीर्घकालिक कूटनीति हितों के लिए बहुत बड़ा झटका है।'
उन्होंने यह भी कहा कि अमेरिका के साथ हमारा रिश्ता हमेशा से दोनों पार्टियों (रिपब्लिकन और डेमोक्रेट) को लेकर एक जैसा रहा है। आपका खुलकर ट्रंप के लिए प्रचार करना भारत और अमेरिका जैसे संप्रभु और लोकतांत्रिक देशों में दरार पैदा करने वाला है। गौरतलब है कि प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने अमेरिका के ह्यूस्टन में हाउडी मोदी कार्यक्रम में ट्रंप को 2020 में पुन: निर्वाचित करने के लिए रविवार को लोगों का उत्साहवर्धन करते हुए कहा ‘अबकी बार, ट्रंप सरकार’।
चिदंबरम का कटाक्ष: विपक्षी नेताओं को जेल में डालने के अलावा सब अच्छा है
वहीं पूर्व वित्त मंत्री पी चिदंबरम ने तिहाड़ पहुंचकर खुद से मुलाकात के लिए कांग्रेस अध्यक्ष सोनिया गांधी और पूर्व प्रधानमंत्री मनमोहन सिंह को धन्यवाद दिया और प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी पर कटाक्ष करते हुए कहा कि भारत में बेरोजगारी, भीड़ हिंसा, कश्मीर में तालाबंदी, नौकरियां खत्म होने एवं विपक्षी नेताओं को जेल में डालने के अलावा सब अच्छा है।
आईएनएक्स मीडिया मामले में गिरफ्तार चिदंबरम की तरफ से उनके परिवार ने उनके आधिकारिक ट्विटर हैंडल पर टिप्पणी पोस्ट की। 'उन्होंने कहा कि मैं आज सम्मान की अनुभूति कर रहा हूं कि सोनिया गांधी जी और डॉ. मनमोहन सिंह जी मुझसे मिलने आए। जब तक कांग्रेस पार्टी मजबूत और साहसी है, मैं भी मजबूत और साहसी रहूंगा। चिदंबरम ने कहा कि बेरोजगारी, कम वेतन, भीड़ हिंसा, कश्मीर में तालाबंदी, मौजूदा नौकरियों के खत्म होने और विपक्षी नेताओं को जेल में डालने के अलावा भारत में सब अच्छा है।'