वाराणसी। हाल में कश्मीर में जवानों के कैम्प पर धोखे से हमला करके जवानों को दुश्मनों ने शहीद किया था। इस हमले को ध्यान में रखते हुए काशी के कलाम श्याम चौरसिया ने आर्मी एंटी अटैक सिस्टम ईजाद किया है। उन्होंने इसका प्रोटोटाइप मॉडल तैयार किया है। इसे देश के जवान अपने बेस कैम्प से एक किलोमीटर के रेडियस में स्थापित कर सकते हैं। इसकी खासियत यह है कि यदि रिस्पॉन्स मिलने में देर हुई तो यह स्वयं से फायरिंग करना शुरू कर देता है।
दुश्मनों पर रखेगा गिद्ध जैसी नजर
देश के जवानों पर पीठ के पीछे से करने वाले आतंकियों और दुश्मनों का दांत खट्टे करने के लिए श्याम चौरासिया ने आर्मी एंटी अटैक सिस्टम ईजाद किया है। वाराणसी के अशोका इंस्टिट्यूट के रिसर्च एन्ड डवलपमेंट डिपार्टमेंट के श्याम चौरसिया ने बताया कि आर्मी एंटी अटैक सिस्टम ज़मीनी लड़ाई में दुश्मनों पर गिद्ध जैसी नजर रखेगा।
करेगा जवानों को फ़ौरन अलर्ट
उन्होंने बताया कि इस उपकरण को दुश्मनों के हमलों से सेना के जवानों की रक्षा के लिए तैयार किया गया है। ये उपकरण मानव रहित है दिन हो या रात दुश्मन के नजदीक आने की जानकारी सेना के जवानों तक पहुंचाने में मदद करेगा। इसका इस्तेमाल सेना के जवान अपने कैंप के आस-पास के एरिया में कर सकते हैं, ताकी किसी भी वक्त आर्मी कैंप के आस -पास किसी दुश्मन की गतिविधि होने पर जवान समय रहते अलर्ट हों कर अपनी जान माल की सुरक्षा कर सके।
एक किलोमीटर एरिया होगा सुरक्षित
उन्होंने बताया कि आर्मी बेस कैंप का इस्तेमाल 1 किलोमीटर ऐरिया के दायरे में किया जा सकता हैं l इसकी रेंज को बढ़ाया भी जा सक्ता है l उन्होंने बताया कि यह डिवाइस टूवे कम्युनिकेशन पर आधारित है l हमारे देश के जवान आर्मी बेस कैंप लगाते है कैंप से 1 किलोमीटर दूर उसके चारों तरफ हम इस डिवाइस को इनस्टॉल कर दें तो कोइ भी दुश्मन किसी भी समय जवानों के कैंप के नजदीक आने की कोशिश करता है तो आर्मी एंटी अटैक सिस्टम एक किलोमीटर दूर अपने कैंप में जवानों को अलार्म द्वारा अलर्ट करता है, जिससे की समय रहते कैंप में रहने वाले जवान आतंकियों से अपनी आत्म रक्षा कर सकें।
इन चीजों से बना है प्रोटोटाइप मॉडल
श्याम ने बताया कि प्रोजेक्ट का प्रोटोटाईप का वजन तक़रीबन 4 किलोग्राम है। इसे बनाने में लगभग एक महीने का समय लगा है और 20 से 25 हजार का खर्च आया है। इसे बनाने में, रेडियो किट, कैमरा, 1 इंच मेटल पाईप, गियर बॉक्स, बैटरी, मोशन सेंसर का इस्तेमाल हुआ है।
करेंगे हर संभव मदद
इसमें एक गन भी लगी है जिसे सेना के जवान रेडियो रिमोट से एक किलोमीटर दूर से दुश्मन पर कैमरे से टार्गेट कर गोलियां बरसा सकेंगे। अशोका इंस्टिट्यूट के चेयर मैन अंकित मौर्या ने श्याम के आर्मी एंटी अटैक सिस्टम की तारीफ करते हुए श्याम के प्रोजेक्ट को आगे बढ़ाने के लियें हर संभव मदद का आश्वासन दिया है l
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