जब सुषमा स्वराज बोलीं- मैं पूछना चाहती हूं कि अगर मेरी जगह सोनिया गांधी होतीं तो वे क्या करतीं
sushma swaraj : bharat rajneeti
वह तारीख छह अगस्त ही है, जब पूर्व विदेश मंत्री सुषमा स्वराज इस दुनिया को अलविदा कह गई। ठीक चार साल पहले यानी 2015 में छह अगस्त के दिन ही लोकसभा में सुषमा स्वराज बोल रही थीं। उन्होंने कहा, अध्यक्ष जी मैं पूछना चाहती हूं कि अगर मेरी जगह सोनिया गांधी होतीं तो वे क्या करतीं।क्या वे ललित मोदी की उस पत्नी को मरने के लिए छोड़ देती, जो 18 साल से कैंसर की मरीज है।और हां, अगर ये सदन अब यह समझता है कि मैंने कोई गुनाह किया है तो मैं कहती हूं। हां मैंने किया है, सदन जो चाहे मुझे सजा दे दे। वो मुझे मंजूर होगी।
आपको बता दें कि 2015 में विपक्ष की ओर से, ख़ासतौर पर सोनिया गांधी और राहुल गांधी ने ललित मोदी के मामले में विदेश मंत्री सुषमा स्वराज पर यह आरोप लगाया था कि उन्होंने ललित मोदी को भारत से भगाने में मदद की है। विपक्षी दलों के इस आरोप से सुषमा स्वराज बहुत दुखी थी। यहां तक कि उन्होंने सदन में कह दिया कि मेरे ग्रह खराब चल रहे हैं। सोनिया गांधी ने सुषमा स्वराज पर हमला बोलते हुए यहां तक कह दिया कि सुषमा नौटंकी में माहिर हैं।
इस मामले में राहुल गांधी भी पीछे नहीं रहे।राहुल ने बड़े तल्खी भरे शब्दों में कहा, सुषमा बताएं कि उन्हें ललित मोदी ने कितने पैसे दिए हैं। वे यहीं पर नहीं रुके। राहुल ने आगे कहा कि सुषमा की बेटी और पति को ललित मोदी से फायदे मिले हैं।
सुषमा स्वराज ने जब अपना जवाब दिया तो सदन ने मेज थपथपा कर उनका स्वागत किया
सुषमा स्वराज ने 12 मिनट और 23 सेकंड में अपना पक्ष रखा। स्वराज ने ललित मोदी मामले से जुड़ा हर दस्तावेज सदन के सामने रख दिया। विपक्ष यह आरोप लगा रहा था कि मेरी सिफ़ारिश पर ब्रिटेन ने ललित मोदी को यात्रा दस्तावेज दिए हैं। कुछ लोग कह रहे हैं कि मैंने ब्रिटेन से अनुरोध किया था। मैंने केवल ये लिखा कि इससे दोनों देशों के संबंध खराब नहीं होंगे।
यात्रा दस्तावेज जारी करने का निर्णय तो ब्रिटेन पहले ही ले चुका था। मैंने न तो सिफारिश की और न ही अनुरोध किया। संबंध खराब न होने की बात भी तब लिखी, जब ललित मोदी की पत्नी ने कहा— ''पुर्तगाल में उसका ऑपरेशन होना है। ये बहुत मुश्किल है। पता नहीं क्या होगा। मैं चाहती हूं कि ऑपरेशन के दौरान मेरा पति मेरे साथ रहे।''
सुषमा में कहा, मैंने मानवीय आधार पर ललित मोदी नहीं, बल्कि उसकी कैंसर पीड़ित पत्नी की मदद की है। उन्होंने कहा, 'मैं पूछना चाहती हूं कि अगर मेरी जगह सोनिया गांधी होतीं तो क्या करतीं। क्या वे ललित मोदी की पत्नी को मरने के लिए छोड़ देतीं।
सुषमा इस दौरान इमोशनल हो गई थी। खास बात है कि जब सुषमा स्वराज सदन में अपनी बात रख रही थीं तो सोनिया गांधी संसद परिसर में अपने सांसदों को निलंबित करने के खिलाफ प्रदर्शन कर रही थीं। सुषमा ने कहा कि एक महिला की मदद करना गुनाह है तो हां, मैंने गुनाह किया है। इनके बाद राहुल गांधी ने कहा, मैं सोनिया जी का बेटा होने के नाते कह सकता हूं कि वह कोई भी काम छिप कर नहीं करतीं। राहुल ने कहा कि बिल्कुल सोनियां गांधी सुषमा की तरह नहीं करतीं।